मथुरा–वृंदावन की होली को देखने की उत्सुकता हर किसी के मन में होती है, क्योंकि यहां के रंग-बिरंगे उत्सव की छटा अद्भुत होती है। बृज की होली अपने अनोखे अंदाज और भव्य आयोजन के लिए प्रसिद्ध है। भारत के विभिन्न हिस्सों में होली अपने खास अंदाज में मनाई जाती है, लेकिन बृज की होली सबसे आकर्षक और विशेष मानी जाती है। इसे देखने के लिए न केवल भारत से बल्कि विदेशों से भी हजारों श्रद्धालु और पर्यटक आते हैं।

गौरतलब है कि मथुरा-वृंदावन समेत पूरे बृज क्षेत्र में होली का यह उत्सव लगभग 40 दिनों तक चलता है, जिसमें रंगों, भक्ति और उल्लास का अद्भुत संगम देखने को मिलता है।
बृज की होली 2025 – रंगों के उत्सव की तिथियां (Braj Ki Holi 2025 Dates List)
बृज में होली का उत्सव बसंत पंचमी से प्रारंभ होकर रंग पंचमी तक चलता है। इस दौरान विभिन्न स्थानों पर अलग-अलग प्रकार की होली मनाई जाती है। आइए जानते हैं 2025 में बृज की होली के मुख्य कार्यक्रमों की तिथियां –
- 7 मार्च 2025 – बरसाना, श्रीजी मंदिर में लड्डू होली
- 8 मार्च 2025 – बरसाना में लट्ठमार होली
- 9 मार्च 2025 – नंदगांव, नंद भवन में लट्ठमार होली
- 10 मार्च 2025 – बांके बिहारी मंदिर में फूलों की होली
- 10 मार्च 2025 – कृष्ण जन्मभूमि पर हुरंगा उत्सव
- 11 मार्च 2025 – गोकुल के रमणरेती और द्वारकाधीश मंदिर में होली उत्सव
- 11 मार्च 2025 – गोकुल में छड़ीमार होली
- 12 मार्च 2025 – वृंदावन के बांके बिहारी मंदिर में रंगोत्सव
- 13 मार्च 2025 – होलिका दहन
- 14 मार्च 2025 – पूरे बृज में होली उत्सव
- 15 मार्च 2025 – दाऊजी का हुरंगा
- 16 मार्च 2025 – नंदगांव में हुरंगा उत्सव
- 17 मार्च 2025 – जाव गांव में पारंपरिक हुरंगा
- 18 मार्च 2025 – मुखरई में चरकुला नृत्य का आयोजन
- 22 मार्च 2025 – वृंदावन के रंगनाथ मंदिर में होली महोत्सव एवं समापन
इस प्रकार, बृज की प्रसिद्ध 40 दिन की होली का भव्य समापन 22 मार्च को होगा।
ब्रज की होली का महत्व (Braj Ki Holi ka Mahatva)
ब्रज की होली को विशेष रूप से पवित्र और अनोखा माना जाता है। यहां इसे होरा भी कहा जाता है। जहां देश के अन्य हिस्सों में रंग, गुलाल और पानी से होली खेली जाती है, वहीं ब्रज की होली कई रूपों में मनाई जाती है, जिनमें लट्ठमार, छड़ीमार, लड्डू और फूलों की होली प्रमुख हैं। ब्रज की होली में लट्ठमार होली सबसे अधिक प्रसिद्ध है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, द्वापर युग में भगवान श्रीकृष्ण ने राधा रानी और गोपियों के साथ लट्ठमार होली खेली थी। तभी से यह परंपरा चली आ रही है और आज भी हर साल इसे बड़े हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है।
ALSO READ:-
Holi Date 2025: 2025 में होली कब है, यहां जाने सही तारीख
Holi Date 2025: रंगवाली होली 2025 में कब? जाने होलिका दहन कब होगा?
Holi 2025: होली पर लड्डू गोपाल को लगायें इन रंगों का गुलाल, घर में आएगी सुख-समृद्धि
Holi 2025: इस वर्ष होली पर लग रहा है चंद्र ग्रहण, जाने क्या होली पर पड़ेगा चंद्र ग्रहण का प्रभाव?